जितनी बार लापरवाही उतनी बार लॉकडाउन ? Lockdown as many times as carelessness ?

 

जितनी-बार-लापरवाही-उतनी-बार-लॉकडाऊन
प्रतीकात्मक चित्र

     प्रिय पाठक आप सभी जानते हैं, कि कोरोना वायरस मार्च 2020 से हमारे भारत देश अपना में क़ब्ज़ा जमाए बैठा है। कोरोना वायरस ने करोड़ों लोगों को संक्रमित किया था और लाखों लोगों की जाने भी ली थी

    हमारी सरकार द्वारा पिछले साल भी लॉकडाउन लगाया गया था, ताके कोरोना वायरस का ख़तरा कम कर सके, लेकिन लॉकडाउन लगाने की वजह से लोग खाने पीने तक के मजबूर हो गये थे। पिछले साल जैसे ही कोरोना से संक्रमित होने वाले मरीज़ों का आँकड़ा थोड़ा कम हुवा वैसे ही सरकार ने देश को अनलॉक करने की प्रक्रिया शुरू कर दी, ताके लोग वापस से अपनी ज़िंदगी को शुरू करे। अनलॉक के बाद कुछ महीनो तक कोरोना से संक्रमित मरीज़ों का आँकड़ा कम रहा। लेकिन हमारी लापरवाही की वजह से मरीज़ों की संख्या में इज़ाफ़ा हुवा और हालात इतने नाज़ुक हो गये थे, की वापस से लॉकडाउन लगाना पढ़ा वह भी सिर्फ़ और सिर्फ़ हमारी लापरवाही की वजह से।

    हमारी लापरवाही रही, के हालात पिछले साल से ज़्यादा इस साल गंभीर रहे याने 2020 से ज़्यादा 2021 में गंभीर रहे और वापस से लॉकडाउन लगाना पढ़ा। पिछले साल के मुक़ाबले इस साल कोरोना वारस ज़्यादा ताक़तवर रहा याने कोरोना के नये वेरीएंट ने खूब तबाही मचाई| पिछले साल जो मरीज़ कोरोना से संक्रमित हो रहे थे, उनमें से आधे से ज़्यादा मरीज़ ठीक हो रहे थे और ऑकसीजन की कमी भी ज़्यादा नहीं थी। लेकिन इस साल हर कोरोना संक्रमित मरीज़ को ऑकसीजन की ज़रूरत पढ़ी और मरीज़ ज़्यादा ऑकसीयजन के सिलेंडर और बेड कम थे।

     लेकिन अभी हालात थोड़े सुधर गये है। पर कोरोना अभी भी पुरी तरह से ख़त्म नहीं हुवा है। हालात थोड़े से सुधर गये है इसीलिए सरकार देश को थोड़ा-थोड़ा करके अनलॉक कर रही है।

लेकीन लोग वापस से लापरवाह हो गये है हम जितनी बार लापरवाह होंगे उसका नुकसान हमे ही भुगतना पढेंगा हमने वापस से मास्क लगाना छोड दिया है सोशल डीस्टन्सिंग का पालन नही कर रहे बस पोलीस से डर के उनके हि सामने मास्क लगाते है| हम जितनी बर लापरवाही करेंगे उतनी ही मरीजो कि संख्या में इजाफा होंगा और जितनी मरीजो कि संख्या में इजाफा होंगा उतनी हि बर सरकार को माजुबुरण लॉकडाऊन लगाना पढेंगा|

     लॉकडाऊन लगाने के कारण फिर लोग खाने पिने तक के मजबुर हो सकते है, लेकीन सरकार और डॉक्टर्स द्वारा बताये हुवे नियमो का पालन करने को तैयार नही| और सरकार जान बुझके या किसी से बदला लेने के लिये लॉकडाउन नहीं लगाती, बल्कि हमारी सुरक्षा और जान बचाने के लिये लॉकडाउन लगाती है।

     अभी सरकार ने लॉकडॉन खोलने का प्रयास तो किया है, लेकिन लापरवाही ऐसी ही नज़र आती रही तो शायद सरकार वापस से लॉकडाउन लगा सकती है। और तीसरी लहेर की भी चिंता जताई जा रही है और तीसरी लहेर बच्चों के लिये ज़्यादा ख़तरनाक है ऐसा बताया जा रहा है।

    इसीलिए हर व्यक्ति यह थान ले, के कोरोना वायरस हमारा भी दुश्मन है और हम इसे मिलकर हराएंगे। कुछ लोग अभी भी कहते है, की हमें कोरोना हो ही नहीं सकता कोरोना किसी का रिश्तेदार या दोस्त तो नहीं है, वह किसी को भी अपने चपेट में ले सकता है।

    हमारा देश थोड़ा-थोड़ा करके अनलॉक हो रहा है तो हमें भी चाहिये, के मास्क लगाए सोशल डिस्टन्सिंग का पालन करे बार-बार हात धोते रहे। हम इन सब का पालन करेंगे तो करोना वायरस ज़रूर ख़त्म होंगा।

    बहुत ज़रूरी हो तो ही बाहर निकले बे वजह घुमने के लिये बाहर ना जाए। अगर किसी काम से बाहर जाना भी हो तो मास्क पहेन कर जाये और सैनिटाइजर साथ में ज़रूर रखे । जो तीसरी लहेर की चेतावनी दी जा रही है उसके आने से पहले ही हम सावधान रहे ताके वह हम पे या हमारे बच्चों पे हमला ना करे।

    आज के  इस ब्लॉग पोस्ट के माध्यम से हम इतना ही कहना चाहते, के लापरवाह ना रहे घर में रहे सुरक्षित रहे।


लेखक/संपादक: जर्नलिस्ट मुजीब जमीनदार

Comments

Popular posts from this blog

Shocking News: जिला परिषद स्कूल की छत पर चार नवजात बच्चों के मिले शव; महिला अस्पताल महज कुछ ही की दूरी पर

मराठा भाइयों के लिए मुसलमानों कि पहल,बिस्किट और पानी का वितरण किया जा रहा है।

शिमला में कुदरत का कहर; भूस्खलन से दबा शिवमन्दिर, 50 लोग दबने कि आशंका, 9 शव निकाले, बचाव कार्य जारी